उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जिले के देवीपुर गांव में शनिवार रात एक व्यक्ति ने शक में अपनी पत्नी की बेटी के सामने कुल्हाड़ी से गर्दन काटकर हत्या कर दी। बेटे की तहरीर पर रिपोर्ट दर्ज कर पुलिस ने हत्यारोपी अहिबरन को आला कत्ल सहित गिरफ्तार कर लिया। घटना के वक्त अहिबरन के कमरे में पत्नी और नौ साल की बेटी शिल्पी ही थी। शिल्पी ने पुलिस को बताया कि मम्मी की चीख सुनकर वह जागी तो उसने पापा को मम्मी की गर्दन पर कुल्हाड़ी से वार करते हुए देखा। यह देख वह सहम गई। कुंडी खोलकर बगल में रहने वाले चाचा राकेश के घर भागकर पहुंची। वह नहीं भागती तो शायद पिता उसको भी मार डालता।मृतका की देवरानी पूनम और गांववालों ने बताया कि पत्नी को मौत के घाट उतारने वाला अहिबरन सिरफिरा और नशेड़ी किस्म का है। वह पिछले कई दिनों से बहकी-बहकी बातें किया करता था। आठ मार्च को ही उसके पिता हीरालाल की मृत्यु हुई थी। घरवालों और गांववालों के लाख समझाने के बावजूद अहिबरन पिता के अंतिम संस्कार में भी नहीं शामिल हुआ था, बल्कि वह रात भर पास के एक गन्ने के खेत में छिपा रहा और सुबह कंपकंपाता हुआ खेत से निकला तो लोगों ने आग जलाकर उसकी सेंकाई की। तीन दिन पहले ही उसने आत्महत्या की कोशिश भी की थी।
अपने सिरफिरेपन और नशे की आदत के चलते ही बच्चों और पत्नी को मारता-पीटता था। उसके डर से ही बच्चे अपने घर के बजाए बगल में रहने वाले चाचा राकेश के घर पर सोते थे। बस छोटी बेटी शिल्पी को नहीं मारता था, इसलिए वह उसी के पास सोती थी। अहिबरन अक्सर कहता था कि उसकी हत्या करवा दी जाएगी। संभवत: इसी सिरफिरेपन और नशे में ही उसने अपनी पत्नी को मौत के घाट उतार दिया।
मृतका की देवरानी पूनम और गांववालों ने बताया कि तीन दिन पहले अहिबरन ने दोपहर में घर के पास स्थित आम के पेड़ पर फंदा लगाकर आत्महत्या की कोशिश की थी। दिन का समय होने के कारण पास-पड़ोसियों ने देख लिया और उसे पेड़ से उतार लिया, जिससे उसकी जान बच गई थी। बड़े बेटे मुकेश ने बताया कि इसका प्रार्थनापत्र थाने में दिया था, लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की।