दिल्ली के पूर्व उप राज्यपाल (LG) नजीब जंग का कहना है कि दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार के कई कार्य गैरकानूनी रहे हैं. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने उन पर कभी भी अरविंद केजरील के खिलाफ काम करने का दबाव नहीं डाला. उन्होंने कहा कि अरविंद केजरीवाल एक ऐसे अनुभवहीन व्यक्ति हैं जो कुछ कर दिखाने की जल्दबाजी में भी हैं. इंडिया टुडे टीवी के करण थापर से एक खास बातचीत में नजीब जंग ने यह बात कही.
गौरतलब है कि केजरीवाल सरकार जमीन, पुलिस पर नियंत्रण और अफसरशाही पर प्रशासनिक अधिकारों को लेकर केजरीवाल सरकार निरंतर एलजी से टकराती रही है. फिलहाल ये अधिकार एलजी के पास हैं जो केंद्रीय गृह मंत्रालय को रिपोर्ट करते हैं. शुंगलू कमेटी की रिपोर्ट पर चर्चा करते हुए जंग ने कहा, ‘पिछले एक-डेढ़ साल में राज्य सरकार द्वारा कई ऐसे निर्णय लिए गए जो पूरी तरह कानून या संविधानसम्मत नहीं थे.’
केजरीवाल की पत्नी के रिश्तेदार निकुंज अग्रवाल के मामले में जंग ने बताया कि पहले उन्हें एक अस्पताल में अनयमित तौर पर रेजिडेंट डॉक्टर के रूप में नियुक्त किया गया, फिर उन्हें स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन के ऑफिस में ओएसडी बना दिया गया. उन्हें समय-समय पर चीन और आइआइएम अहमदाबाद भेजा गया. यह मामला पूरी तरह से भाई-भतीजावाद और पक्षपात है और संविधान के अनुच्छेद 16 का उल्लंघन करता है. सीबीआई ने इसके लिए एफआईआर दर्ज किया है.’
सत्येंद्र जैन की बेटी के मामले की चर्चा पर जंग ने बताया, ‘ वह एक आर्किटेक्ट है और उसने अपने पिता को पत्र लिखा कि वह मोहल्ला क्लीनिक के निर्माण में सलाह देना चाहती है. उसकी नियुक्ति कर ली गई. जब कई चैनलों पर यह खबर आई और यह भी कि उसको पैसा मिला है तो फिर इस पर हंगामा खड़ा हुआ. हमने जांच में यह पाया कि उसे पैसे मिले हैं, यह अलग बात है कि उसने बाद में वापस कर दिए. यह भी कुनबापरस्ती का मामला है.’
दिल्ली में सत्तारूढ़ आम आदमी पार्टी (AAP) यह आरोप लगाती रही है कि जंग केंद्र सरकार के दबाव में दिल्ली सरकार को परेशान कर रहे हैं और उन्हें काम नहीं करने दे रहे हैं. नजीब जंग ने कहा कि सच तो यह है कि दिल्ली सरकार ही पक्षपात, धोखाधड़ी और भाई-भतीजावाद में लगी रही है.