जेडीयू के पूर्व अध्यक्ष शरद यादव के ‘बेटी की वोट’ से तुलना किए जाने के विवादास्पद बयान के बाद बिहार की राजनीति गर्मा गई है. बीजेपी ने जहां शरद यादव पर जमकर निशाना साधा, वहीं सत्ताधारी जेडीयू अपने पूर्व अध्यक्ष के बचाव में उतर गई है. कर्पूरी ठाकुर के जन्मदिन के मौके पर जेडीयू के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद शरद यादव ने एक विवादित बयान देकर बखेड़ा खड़ा कर दिया है. स्टेज पर लोगों को संबोधित करते हुए शरद यादव ने कहा कि वोट की इज्जत बेटी की इज्जत से बड़ी है.
वोट की इज्जत बेटी की इज्जत से बड़ी– शरद
बिहार की राजधानी पटना में एक कार्यक्रम में शरद ने कहा, ‘’लोगों को यह बताना बेहद जरूरी है कि बैलट पेपर कैसे काम करता है. वोट की इज्जत आपकी बेटी की इज्जत से ज्यादा बड़ी होती है. शरद ने आगे कहा, ‘’अगर बेटी की इज्जत गई तो सिर्फ गांव और मोहल्ले की इज्जत जाएगी, लेकिन अगर वोट एक बार बिक गया तो देश और सूबे की इज्जत चली जाएगी. भविष्य के लिए संजोए हमारे सारे सपने खत्म हो जाएंगे.
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बीजेपी ने साधा निशाना
इस बयान पर बीजेपी ने निशाना साधते हुए कहा कि ऐसे बयान लड़कियों और महिलाओं के प्रति उस पार्टी के दृष्टिकोण को दिखाता है. बीजेपी के विधान पार्षद विनोद नारायण झा ने कहा, “मंगलवार को एक ओर देश के लोग जहां राष्ट्रीय बालिका दिवस मना रहे थे, किसी नेता का ऐसा बयान देना कहीं से भी सुखद नहीं है. ऐसे बयानों की जितनी निंदा की जाए कम है.
जेडीयू शरद यादव के बचाव में उतर आई है. जेडीयू के प्रवक्ता नीरज कुमार ने कहा कि पूर्व अध्यक्ष के बयान को बड़े परिप्रेक्ष्य में देखने की जरूरत है. हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि भाषा की मर्यादा सभी को रखनी चाहिए. शरद यादव ने कहा, ‘’मैनें बिल्कुल गलत नहीं कहा, जैसे बेटी से प्यार करते हैं, वैसे ही वोट से भी होनी चाहिए तब देश और सरकार अच्छी बनेगी.’’ उन्होंने कहा, ‘’वोट और बेटी के प्रति प्रेम और मोहब्बत एक जैसी होनी चाहिए.’’