मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को दो करोड़ श्रमिकों के अकाउंट में भरण पोषण भत्ता के रूप में एक-एक हजार रुपये की राशि ऑनलाइन ट्रांसफर कर दी। लोकभवन में आयोजित कार्यक्रम में उन्होंने राशि ट्रांसफर कर दी। इसके लिए संगठित व असंगठित क्षेत्र के मजदूरों ने रजिस्ट्रेशन करवा लिया था। मुख्यमंत्री योगी ने इस मौके पर सात कामगारों को एक-एक हजार रुपये चेक भी दिए। इस समय प्रदेश में कुल पंजीकृत कामगारों की संख्या पांच करोड़ 90 लाख आठ हजार 745 है।
योगी ने कहा कि 2017 से पहले प्रदेश में मजदूरों का शोषण होता था
इस मौके पर अपने संबोधन में मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि 2017 से पहले प्रदेश में मजदूरों का शोषण होता था। श्रमिक वर्ग की सुविधाओं के लिए दिए जाने वाले धन का बंदरबांट होता था। इस धन से नेताओं का घर भरा जाता था जिसे आज जेसीबी लगाकर नोटों की गड्डियों के रूप में निकाला जा रहा है और अब लोग इसे स्वीकार भी कर रहे हैं।
यह डबल इंजन की सरकार का ही कमाल है : योगी
2017 से पहले श्रमिकों को किसी भी योजना का लाभ नहीं मिलता था। श्रमिकों के पास न तो राशन कार्ड होता था और न ही रहने के लिए घर होता था। किसी तरह घर हो भी गया तो बिजली नहीं होती थी पर अब पात्रों को उनका हक मिल रहा है। यह डबल इंजन की सरकार का ही कमाल है।
उन्होंने कहा कि यूपी में 2017 के बाद पहली बार श्रमिकों के लिए काम करने वाली सरकार आई है। सरकार लगातार आपके हितों के संरक्षण के लिए काम कर रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व प्रदेश सरकार मजदूरों को पक्के आवास, शौचालय, मुफ्त रसोई गैस और बिजली के कनेक्शन दिए गए हैं। केंद्र की मोदी सरकार के कारण गरीब वर्ग के लिए दो लाख रुपये की सामाजिक सुरक्षा और पांच लाख रुपये तक का स्वास्थ्य बीमा कवर मुहैया करवाया जा रहा है। इस मौके पर यूपी सरकार के प्रमुख मंत्री व भाजपा कार्यकर्ता मौजूद थे।