उत्तर प्रदेश में नई सरकार की तस्वीर बुधवार को साफ हो जाएगी। विधानसभा चुनाव के नतीजे आने के छह दिन बाद गृहमंत्री अमित शाह, भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा, कार्यवाहक मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ पहली बैठक करेंगे।
इसमें संगठन महासचिव बीएल संतोष, चुनाव प्रभारी धर्मेंद्र प्रधान, प्रदेशाध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह, संगठन मंत्री सुनील बंसल, दोनों डिप्टी सीएम रहे केशव प्रसाद मौर्य और दिनेश शर्मा भी मौजूद रहेंगे। योगी बुधवार सुबह दिल्ली पहुंचेंगे।
सूत्रों के मुताबिक, बैठक में सरकार के आकार, डिप्टी सीएम की संख्या और नामों के अलावा सभी मंत्रियों के नाम तय कर लिए जाएंगे। योजना दो दर्जन कैबिनेट, आठ स्वतंत्र प्रभार वाले और करीब ढाई दर्जन राज्यमंत्री बनाने की है।सिराथू से चुनाव हारने के बावजूद डिप्टी सीएम रहे केशव मौर्य को फिर से यही जिम्मेदारी दिए जाने की चर्चा है। सूत्रों का कहना है कि उनका कद नहीं घटाया जाएगा। नई सरकार के गठन के साथ संगठन में बदलाव पर भी चर्चा होगी। ऐसे में केशव को डिप्टी सीएम नहीं बनाया गया तो उन्हें राज्य में संगठन की कमान दी जा सकती है। पिछली सरकारों में अहम भूमिका में रहे कई मंत्रियों को बाद में संगठन में भेजा जा सकता है।
बढ़ सकती है कि डिप्टी सीएम की संख्या
दो साल बाद होने वाले लोकसभा चुनाव के मद्देनजर जातिगत संतुलन साधने के लिए डिप्टी सीएम की संख्या दो से बढ़ाकर तीन की जा सकती है। इस चुनाव में बसपा के समर्पित मतदाता वर्ग के एक बड़े हिस्से ने भाजपा का समर्थन किया है। इस वर्ग को साधने के साथ समर्थन का दायरा बढ़ाने के लिए दलित बिरादरी के चेहरे को डिप्टी सीएम बनाया जा सकता है। पहले की तरह ओबीसी और ब्राह्मण बिरादरी से एक-एक चेहरे को नंबर दो की जिम्मेदारी दी जा सकती है।